कतरास: 22-03-2025
हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी कतरास राजबाड़ी में स्थित शीतला मंदिर में माता शीतला की पूजा पूरे धूमधाम से हुई। आसपास के सैकड़ो श्रद्धालु माता शीतला के दरबार में माथा टेका तथा माता का पूजा अर्चना किया। मंदिर के मुख्य पुजारी आशीष चक्रवर्ती एवं भोला चक्रवर्ती, उत्तम चक्रवर्ती, जय चटर्जी आदि पंडितों ने सभी श्रद्धालुओं का विधि विधान से पूजा करवाया। बताया गया कि सुबह लगभग 9:00 से ही पूजा शुरू हो गया था। पहले पुष्पांजलि के साथ माता को भोग लगाया गया। 1:30 बजे के लगभग पाठा बाली हुआ। 2 बजे हवन किया गया। इसके पश्चात चरणामृत व प्रसाद वितरण के साथ पूजा का समापन हुआ। लोगों को प्रसाद के रूप में माता के चरणों में चढ़ा हुआ फूल दिया गया। संध्या 6:30 बजे माता की आरती भी की गई। कतरास राजबाड़ी में शीतला माता की पूजा करने के पीछे एक रोचक बात यह बताया जाता है कि मां शीतला के मूर्ति के एकदम बगल में मां शीतला की एक शीला मूर्ति है जो कलश के साथ अपने आप प्रकट हुई थी। उसके बाद से ही सभी के सहयोग से उक्त स्थान में मंदिर का स्थापना किया गया।
मंदिर के पुजारी ने यह भी बताया कि 365 दिन अर्थात सालों भर जो पूजा होती है वह पीड़ा की मूर्ति की होती है जिसमें मां का पाटा भी साथ में रहता है। पूजा करने के लिए कतरास बाजार, पोस्ट ऑफिस रोड, ऊपर मोड, नीचे मोड, भगत सिंह चौक, निचितपुर, आकाश किनारी, डॉक्टर पाड़ा, टंडा बस्ती, शिक्षक कॉलोनी आदि क्षेत्र से सैकड़ो श्रद्धालु आए हुए थे। पूजा को सफल बनाने में स्थानीय गणेश मोदक, राखोहरि पटवा, अमित सिंह, शैलेंद्र पटवा, निक्कू प्रमाणिक आदि का विशेष योगदान रहा। इस पूजा में स्थानीय लोगों के साथ साथ राजबाड़ी के राजपरिवार का विशेष योगदान रहता है।
मंदिर के पुजारी ने यह भी बताया कि 365 दिन अर्थात सालों भर जो पूजा होती है वह पीड़ा की मूर्ति की होती है जिसमें मां का पाटा भी साथ में रहता है। पूजा करने के लिए कतरास बाजार, पोस्ट ऑफिस रोड, ऊपर मोड, नीचे मोड, भगत सिंह चौक, निचितपुर, आकाश किनारी, डॉक्टर पाड़ा, टंडा बस्ती, शिक्षक कॉलोनी आदि क्षेत्र से सैकड़ो श्रद्धालु आए हुए थे। पूजा को सफल बनाने में स्थानीय गणेश मोदक, राखोहरि पटवा, अमित सिंह, शैलेंद्र पटवा, निक्कू प्रमाणिक आदि का विशेष योगदान रहा। इस पूजा में स्थानीय लोगों के साथ साथ राजबाड़ी के राजपरिवार का विशेष योगदान रहता है।


0 Comments